धुंधलाती सुरमई यादें...
धुंधलाती सुरमई यादों के उन पीले पड़ते पन्नों को
दिल के उस तनहा कोने मे मै रोज उलटता चुपके से
कुछ बाते थीं कुछ नगमे थे और किस्से खट्टे मीठे से
उस कोने की तन्हाई मे कुछ अब भी बिखरा बिखरा है
दिल के उस तनहा कोने मे मै रोज उलटता चुपके से
कुछ बाते थीं कुछ नगमे थे और किस्से खट्टे मीठे से
उस कोने की तन्हाई मे कुछ अब भी बिखरा बिखरा है
Comments
Post a Comment